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लेखनी प्रतियोगिता -16-Jun-2022 बीबी हो तो ऐसी

                गगन एक  मल्टीनेशनल कम्पनी में मैनेजर की पोस्ट पर काम कर रहा था। गगन के मम्मी पापा उसकी शादी करके अपनी जिम्मेदारी पूरी करना चाहते थे। गगन की मम्मी चाहती थी कि ऐसी संस्कारी बहू मिले जो  घर परिवार को सम्भालने के साथ  ही  सास ससुर की सेवा भी करें।


          इसीलिए ़वह अपनी जान पहचान  से  ही बहू लाना चाहते थे। दूसरी तरफ गगन  ऐसी लड़की से शादी करना चाहता था जो जाँब भी करती हो क्यौकि आजकल महगाई का जमाना है एक के कमाने से से गुजारा नहीं होता है।

       गगन की मम्मी को जाब वाली बहू लाना पसन्द नही था क्यौकि वह समझती थी कि जाब करने वाली बहुए घर व बच्चे नही सम्भाल सकती है। वह समझती थी कि गृहस्थी  को सम्भालना और जाब दोनौ एक साथ नहीं हो सकती है।

       इस कसमकश में कोई लड़की फाइनल नही हो पारही थी। इसी बीच एक रिश्ता आया लड़की साफ्टवेयर इन्जीनियर थी। गगन अपने मम्मी पापा के साथ लड़की से मिलने एक होटल में पहुँचे।

    गगन की मम्मी ने ही सबसे पहले लड़की से बात करना आरम्भ की।

     गगन की मम्मी नेपूछा,"  बेटी तुम्हारा नाम क्या है ?"

    "  जी पीहू ", उसने छोटा सा जबाब दिया।
   " खाने में क्या क्या बना लेती हो ?" उन्हौने पूछा।

    " जी मैगी, पाव भाजी ब्रैड चाय  । " इतना कहकर वह चुप होगयी।

     "रोटी सब्जी ?" 

   पीहू चुप रह गयी क्यौकि उसने कभी खाना बनाया ही नही था। जब खाना नही बनता था तब वह और उसका भाई  मानव  ब्रैड सेकलेते अथवा मैगी बनाकर खालेते थे।

   गगन की मम्मी ने पूछा," रामायण पढी़ है  उसकी कोई चौपाई सुनाओ। "

   " दीन दयाल बिरद सम्भारी। हरहु नाथ मम संकट भारी।।"

     गगन की मम्मी की समझ मे कुछ नही आरहा था। उन्हौने गगन परछोड़ दिया और उन दोनौ को अलग कमरे में भेज दिया।

     गगन ने ही बोलना शुरू किया," हाय पीहू ! देखो पीहू  मम्मी कुछ पुराने जमाने   की है।  आजकल कुछ भी बनाने से पहले यू ट्यूब खोल लो वहाँ सब मिल जाता है। कोई टैन्शन नही है। तुम मुझे पसन्द करो मै तुम्है पसन्द करूगा। "

     पीहू ने जबाब दिया," वह तो ठीक है  परन्तु मम्मीजी को तो  मै पसन्द नही आरही हूँ। मुझे ऐसा महसूस होरहा है। "

     " ऐसी  कोई बात नही तुम्है मेरे बिषय में कुछ जानना हो तो पूछो। तुम भी बताओ। मै कुछ खुले बिचारौ का हूँ । कोई और पसन्द हो तो अभी बतादेना मै मना करदूँगा और तुम्हारे प्यार को तुमसे मिलवाने का साथ भी दूँगा। " गगन ने पीहू को पूछा।

   पीहू नीचे देखती हुई बोली," नही ऐसा कुछ नही है। "

   "देखो पीहू जो कुछ है अब बतादो बाद में पछताने से कोई फायदा नही है। मेरे साथ आजतक ऐसा कुछ नही है मुझे किसी लड़की ने घास ही नहीं डाली।  " , इतना कहकर वह हसने लगा।


        गगन के हाँ कह देने पर उसके मम्मी पापा ने भी हाँ कहदी। पीहू शादी होकर ससुराल आगयी। उसे मम्मी की खाने वाली बात याद थी इहलिए उसने शादी से पहले युट्यूब पर देखकर खाना बनाने की प्रक्टिश की थी।

        पीहू ने जाब के साथ ही सास ससुर की सेवा करके  अपनी सास का यह भ्रम दूर कर दिया कि जाब बाली लड़किया घर नही सम्माल सकती है।

     गगन को भी अपनी पसन्द की बीबी मिलगयी और उसकी मम्मी को संस्कारी बहू मिल गयी दोनौ खुश थे।

        इति

दैनिक प्रतियोगिता हेतु रचना। 
नरेश शर्मा   "पचौरी"
16/06/2022





    

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11 Comments

Pallavi

19-Jun-2022 10:03 AM

Beautiful lines

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Swati chourasia

17-Jun-2022 08:02 PM

Very beautiful 👌

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Punam verma

17-Jun-2022 06:42 PM

Nice

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